संस्थान की शोध पत्रिका/पत्र पत्रिकाओं का प्रकाशन
संस्थान की शोध पत्रिका/पत्र पत्रिकाओं का प्रकाशन
संस्थान की शोध पत्रिका का प्रकाशन
भाषा संस्थान द्वारा साहित्यिक एवं शोध पत्रिकाओं का प्रकाशन किया जाना प्रस्तावित है पत्रिकाओं हेतु निम्नलिखित बिन्दुओं के अनुसार प्रकाशन की कार्यवाही की जानी प्रस्तावित हैं.
- पत्रिकाओं का नाम “उद्गाता” एवं “केदारमानस ” होगा।
- पत्रिका में उत्तराखण्ड के लेखकों के व्यक्तित्व व कृतित्व पर आधारित विशेषांक प्रकाशित करने पर विशेष बल दिया जायेगा।
- पत्रिका में उत्तराखण्ड के साहित्यकारों की रचनाओं को प्राथमिकता दी जायेगी।
- प्रकाशन हेतु एक सम्पादक मण्डल बनाया जाएगा, जिसमें संस्थान के अधिकारियों के अतिरिक्त साहित्यकार / विषय विशेषज्ञ सदस्य होंगे।
- सम्पादक मण्डल को प्रति प्रकाशित पत्रिका के आधार पर संस्थान द्वारा समय-समय पर निर्धारित मानदेय दिया जायेगा।
- सम्पादक मण्डल में प्रधान सम्पादक निदेशक, उत्तराखण्ड भाषा संस्थान होंगे।
- सम्पादक मण्डल द्वारा चयनित रचनाए पत्रिका में प्रकाशित की जाएंगी।
- चयनित / प्रकाशित रचनाओं के लेखकों को संस्थान द्वारा समय-समय पर निर्धारित पारिश्रमिक दिया जायेगा।
- पत्रिकाओं को उत्तराखण्ड राजभवन पुस्तकालय, सचिवालय, विधानसभा सहित प्रतिष्ठित संस्थान पुस्तकालय विश्वविद्यालय आदि स्थानों में भेजा जायेगा।
- पत्रिकाओं का प्रकाशन उत्तराखण्ड अधिप्राप्ति नियमावली के अनुसार किया जाना प्रस्तावित है।
- अन्य पत्र -पत्रिकाओं का प्रकाशन -संस्थान द्वारा आयोजित शोध सम्मेलनों पर शोधार्थियों द्वारा प्रस्तुत शोध पत्रों को प्रकाशित किया जाना प्रस्तावित है। साथ ही आवश्यकतानुसार विभिन्न प्रकार की पत्र-पत्रिकाओं का प्रकाशन किया जाना प्रस्तावित है।
प्रतिवर्ष होने वाली निबंध, कविता ,नाटक ,यात्रा-वृतांत, उपन्यास आदि लेखन प्रतियोगिता में उत्कृष्ट लेखों का प्रकाशन किया जाना प्रस्तावित है।
लाभार्थी:
कोई नहीं
लाभ:
साहित्यकार, लेखक, पाठक
आवेदन कैसे करें
कोई नहीं